लखनऊ: सूबे की राजधानी लखनऊ में मंगलवार को बहुजन समाज पार्टी (BSP) की राष्ट्रीय कार्यकारिणी की अहम बैठक हुई. जिसमें एक बार फिर मायावती को बसपा का राष्ट्रीय अध्यक्ष चुना गया है. इस बैठक में देश और प्रदेश के पदाधिकारी शामिल हुए. जिसमें सभी पदाधिकारियों ने मायावती पर विश्वास जताया है. बैठक में बसपा के नेशनल कोऑर्डिनेटर और मायावती के उत्तराधिकारी आकाश आनंद (Akash Anand) का कद भी बढ़ गया है.
आकाश आनंद को नेशनल कोऑर्डिनेटर के साथ ही चार चुनावी राज्यों के प्रभारी की भी जिम्मेदारी दी गई है. हरियाणा, जम्मू कश्मीर, झारखंड, महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव के प्रभारी की जिम्मेदारी आकाश आनंद को मिली.
बता दें कि हर 5 साल में बसपा के राष्ट्रीय कार्यकारिणी की बैठक होती है. बैठक में बसपा का राष्ट्रीय अध्यक्ष चुना जाता है. मायावती पहली बार 18 सितंबर 2003 को राष्ट्रीय अध्यक्ष चुनी गई थीं. तब से आज तक मायावती बसपा की राष्ट्रीय अध्यक्ष हैं. हालांकि इस बीच मायावती के संन्यास लेने की ख़बरें भी आईं, जिसका मायावती ने खंडन करते हुए कहा कि अभी वह राष्ट्रीय अध्यक्ष बनी रहेंगी.
गौरतलब है कि लोकसभा चुनाव में यूपी की सियासत में सबसे बड़ी लूजर बसपा रही है. मायावती के अकेले चुनाव लड़ने के फैसले ने उनकी पार्टी का यूपी में पूरी तरह से सफाया हो गया है. बसपा को अपने अब तक के सियासी इतिहास में सबसे करारी हार का सामना करना पड़ा है.
बसपा 10 से फिर एक बार शून्य पर सिमट गई है. बसपा के लिए सबसे चौंकाने वाली बात यह भी है कि उससे दलित वोटबैंक छिटक गया. सूबे में कभी दलितों की एकछत्र नेता रहीं मायावती 2024 के लोकसभा चुनाव में 10 फीसदी से कम वोट लेने में कामयाब हो पाईं.
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