अब बिना हेलमेट गाड़ी चलाना पड़ेगा भारी, 15 अगस्त से पुलिस और परिवहन विभाग उठाने जा रहें सख्त कदम, बढ़ते हादसों को रोकना है लक्ष्य! 

उत्तराखंड : बृहस्पतिवार को वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से यातायात निदेशक मुख्तार मोहसिन ने उत्तराखंड के सभी राज्यों के पुलिस अधीक्षक, अपर पुलिस अधीक्षक, पुलिस उपाधीक्षक यातायात और यातायात निरीक्षक के साथ राज्य की यातायात व्यवस्था को लेकर समीक्षा बैठक की।

यातायात व्यवस्था को लेकर हुई समीक्षा बैठक में यातायात निदेशक मोहसिन ने कहा कि आमतौर पर जिन कारणों से चालान होने पर यह दर्शाया जाता है कि गाड़ी घर पर थी इससे प्रतीत होता है की फर्जी नंबर प्लेट का धड़ल्ले से राज्य में धमाल हो रहा है, जिस पर कार्यवाही करना आवश्यक है।

प्रदेश में यातायात व्यवस्था को सुधारने के लिए सभी जनपदों से यातायात व्यवस्था के लिए पीआरडी जवान उपलब्ध कराए जा रहे हैं साथ ही उन्होंने बताया कि पीआरडी जवानों को एक हफ्ते का जताया संचालन प्रशिक्षण दिया जाएगा। जिसके बाद उन्हें चौराहों, तिराहों और अन्य यातायात व्यवस्था की ड्यूटी पर लगाया जाएगा।

उत्तराखंड में सबसे ज्यादा सड़क दुर्घटनाएं 76 % तेज रफ्तार रेस टाइमिंग के कारण होती है इसके अलावा गलत दिशा में गाड़ी चलाने से 8% और गलत तरीके से ओवरटेक करने से 3% हादसे हो रहे हैं। यातायात पुलिस और परिवहन विभाग के संयुक्त अभियान के चलते तेज रफ्तार में गाड़ी चलाने रैश ड्राइविंग और गलत तरीके से ओवरटेक करने वालों पर सख्त कार्यवाही की जाएगी।

साथ ही मोहसिन ने बताया कि नाबालिक युवाओं के द्वारा वाहन चलाने पर पिछले वर्ष की तुलना में इस वर्ष बेहतर कार्यवाही की जा रही है। जहां पिछले साल 84 युवाओं के खिलाफ ही कार्यवाही की गई थी वहीं इस साल 384 नाबालिक युवाओं के खिलाफ वाहन चलाने पर कार्यवाही की गई है।